भाव निक्षेप
वर्तमान पर्याय से युक्त द्रव्य को भाव कहते हैं जो पर्याय आगे पीछे की पर्यायों में अनुगम नहीं करती हुई वर्तमान काल में ही रहती हैं वह वर्तमान काल की पर्याय भाव निक्षेप का विषय मानी गई है। भाव निक्षेप में द्रव्य का वर्तमान पर्याय की अपेक्षा व्यवहार किया जाता है जैसे पूजा करते हुए को पुजारी कहना | भाव जीव के दो भेद हैं आगम-भाव जीव और नोआगम-भाव जीव । जो आत्मा जीव विषयक शास्त्र को जानता है और उसके उपयोग से युक्त है वह आगम-भाव जीव कहलाता है तथा जीवन पर्याय या मनुष्य जीवन पर्याय से युक्त आत्मा नोआगम भाव – जीव कहलाता है।