उपघात
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प्रशंसनीय ज्ञान में दूषण लगाना उपघात है उपघात और आसादन में अन्तर है। प्रशस्त ज्ञान की विनय न करना या उसकी प्रशंसा न करना आदि आसादन है परन्तु ज्ञान को अज्ञान समझ कर हृदय की कलुषतावश ज्ञान के विनाश का अभिप्राय रखना उपघात है ।
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